दवा माफिया के फाइनेंसर पर होगी कार्रवाई:आगरा में 22 अक्टूबर को पकड़ी गई थी नकली दवा की फैक्ट्री, कमिश्नर की अध्यक्षता में बनी कमेटी
आगरा में नकली दवा की फैक्ट्री खोलने वाले दवा माफिया विजय गोयल के फाइनेंसर पर शिकंजा कसने के लिए कमिश्नर की अध्यक्षता में कमेटी गठित की गई है। इस कमेटी में डीसीपी सिटी और आबकारी अधिकारी शामिल हैं। फाइनेंस विशाल अग्रवाल पर पीआईटी(पिट) एनडीपीएस एक्ट के तहत कार्रवाई करने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। आगरा में एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स ने 22 अक्टूबर को 8 करोड़ की नकली दवाएं और मशीनें पकड़ीं। ये दवाएं पुलिस चौकी से सिर्फ 1 किलोमीटर दूर फैक्ट्री में तैयार की जा रही थीं। फैक्ट्री खोलने वाला दवा माफिया विजय गोयल 8 महीने पहले ही जमानत पर छूटकर बाहर आया है। विजय गोयल जेल में है। विजय गोयल ने पूछताछ में बताया था कि जेल में ही उसकी मुलाकात गांजा तस्कर विशाल अग्रवाल से हुई थी। विशाल 5 फरवरी 2022 से जेल में है। द्वारिकापुरी, सिकंदरा का रहने वाला विशाल दवा की फैक्ट्री में पार्टनर था। विशाल ने ही विजय गोयल को 30 लाख रुपये दिलवाए थे। विजय गोयल ने इस साल 17 फरवरी को जेल से बाहर आने के बाद इन्हीं पैसों से फैक्ट्री लगाई थी। शासन को देगी जांच रिपोर्ट कमिश्नर रितु माहेश्वरी की अध्यक्षता में बनी कमेटी अपनी जांच रिपोर्ट शासन को देगी। एनएनटीएफ के सीओ इरफान नासिर ने बताया कि विशाल अग्रवाल पर पीआईटी एनडीपीएस एक्ट की कार्रवाई होने पर एक साल तक जेल से बाहर नहीं आ पाएगा। जमानत नहीं मिलेगी। उसकी संपत्ति जब्त करने की कार्रवाई भी की जाएगी।
What's Your Reaction?