उन्नाव के गांधी नगर तिराहे पर पाइपलाइन फटी; VIDEO:सोशल यूजर ने लिखा- भ्रष्टाचार का फव्वारा फूटा, सड़क पर बर्बाद हुआ हजारों लीटर पानी

उन्नाव के गांधी नगर तिराहे पर जलनिगम की अमृत योजना की पाइपलाइन जलकल कर्मियों की लापरवाही के कारण फट गई। जिससे आस-पास के व्यापारियों को भारी नुकसान हुआ। पाइपलाइन के फटने से सड़क पर हजारों लीटर पानी बह गया और पानी के फुहार दुकानों तक पहुंचने से व्यापार ठप हो गया। व्यापारियों को अपने सामान को बचाने के लिए दुकानों को बंद करना पड़ा। घटना के कारण डेढ़ घंटे तक यातायात प्रभावित रहा। सोशल यूजर ने फव्वारे का वीडियो बनाकर भी वायरल किया है। जलनिगम की लापरवाही गांधी नगर तिराहे पर जलनिगम की अमृत योजना के तहत पाइपलाइन की मरम्मत के लिए खोदाई का काम किया जा रहा था। जैसे ही खोदाई शुरू हुई, एक जेसीबी की टक्कर अमृत योजना की पाइपलाइन से हो गई और पाइप फट गई। इससे पूरा क्षेत्र जलमग्न हो गया और पानी बहने लगा। जलनिगम के जिम्मेदार अधिकारी घटनास्थल पर समय पर नहीं पहुंचे, जिससे हालात और बिगड़ गए। सूचना मिलने के बावजूद जलनिगम के कर्मचारियों को मौके पर पहुंचने में देर लगी, और तब तक पानी सड़क पर बहने लगा था। इसके परिणामस्वरूप करीब डेढ़ घंटे तक यातायात बंद रहा। जिससे न केवल क्षेत्र के व्यापारियों को नुकसान हुआ। कुछ दुकानदारों ने अपने सामान को बचाने के लिए दुकानों को बंद कर दिया, लेकिन तब तक उनका सामान पानी में भीगकर बर्बाद हो चुका था। अमृत योजना की पाइपलाइन की गुणवत्ता पर सवाल उन्नाव शहर और शुक्लागंज के लोगों को शुद्ध पेयजल उपलब्ध कराने के लिए 2018 में अमृत योजना को मंजूरी दी गई थी। योजना के पहले फेज में कई महत्वपूर्ण कार्य किए गए, जिनमें गंगा बैराज के पास इंटेकवेल और 80 एमएलडी क्षमता के वॉटर ट्रीटमेंट प्लांट का निर्माण शामिल था। हालांकि योजना के दूसरे फेज में पाइपलाइन के घटिया गुणवत्ता वाले मटेरियल के इस्तेमाल की कई बार शिकायतें सामने आई हैं। बीते माह टेस्टिंग में भी पाइपलाइन की गुणवत्ता को लेकर कई समस्याएं उभर कर आईं। पाइपलाइन की खराब गुणवत्ता के कारण अब जलनिगम को बड़ा नुकसान उठाना पड़ा है। विशेषज्ञों का मानना है कि अगर पाइपलाइन में हल्की सी भी टक्कर लगती है, तो वह टूट सकती है। ऐसे में आने वाले समय में जलनिगम को इस प्रकार के और भी मुद्दों का सामना करना पड़ सकता है। नगर पालिका की लापरवाही नगर पालिका के अधिकारियों का कहना है कि अमृत योजना की पाइपलाइन के नीचे नगर पालिका की पुरानी पाइपलाइन भी पड़ी थी। बिना पूर्व सूचना के जलनिगम ने खुदाई शुरू कर दी, जिससे पाइपलाइन टूट गई। नगर पालिका के अधिकारियों के अनुसार, यह घटना अनावश्यक खुदाई के कारण हुई, और इसके लिए जलनिगम को जिम्मेदार ठहराया गया। नगर पालिका ने जनवरी 2023 में अपनी पुरानी लाइन जलनिगम को हैंडओवर कर दी थी, लेकिन उसके बावजूद जलनिगम ने कोई निगरानी नहीं रखी, जिससे यह समस्या उत्पन्न हुई। जलनिगम के अधिकारियों की प्रतिक्रिया जलनिगम के एक्सईएन, पंकज रंजन झा ने इस घटना पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि नगर पालिका की पुरानी पाइपलाइन के नीचे बिना सूचना के खुदाई कराना गलत था। उन्होंने कहा कि इस प्रकार की लापरवाही के कारण जलनिगम और जनता को नुकसान उठाना पड़ा। उन्होंने स्वीकार किया कि पाइपलाइन में खराब मटेरियल के कारण कई बार टेस्टिंग फेल हो चुकी है, लेकिन इसका असर अब सामने आ रहा है।

Nov 23, 2024 - 09:30
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उन्नाव के गांधी नगर तिराहे पर पाइपलाइन फटी; VIDEO:सोशल यूजर ने लिखा- भ्रष्टाचार का फव्वारा फूटा, सड़क पर बर्बाद हुआ हजारों लीटर पानी
उन्नाव के गांधी नगर तिराहे पर जलनिगम की अमृत योजना की पाइपलाइन जलकल कर्मियों की लापरवाही के कारण फट गई। जिससे आस-पास के व्यापारियों को भारी नुकसान हुआ। पाइपलाइन के फटने से सड़क पर हजारों लीटर पानी बह गया और पानी के फुहार दुकानों तक पहुंचने से व्यापार ठप हो गया। व्यापारियों को अपने सामान को बचाने के लिए दुकानों को बंद करना पड़ा। घटना के कारण डेढ़ घंटे तक यातायात प्रभावित रहा। सोशल यूजर ने फव्वारे का वीडियो बनाकर भी वायरल किया है। जलनिगम की लापरवाही गांधी नगर तिराहे पर जलनिगम की अमृत योजना के तहत पाइपलाइन की मरम्मत के लिए खोदाई का काम किया जा रहा था। जैसे ही खोदाई शुरू हुई, एक जेसीबी की टक्कर अमृत योजना की पाइपलाइन से हो गई और पाइप फट गई। इससे पूरा क्षेत्र जलमग्न हो गया और पानी बहने लगा। जलनिगम के जिम्मेदार अधिकारी घटनास्थल पर समय पर नहीं पहुंचे, जिससे हालात और बिगड़ गए। सूचना मिलने के बावजूद जलनिगम के कर्मचारियों को मौके पर पहुंचने में देर लगी, और तब तक पानी सड़क पर बहने लगा था। इसके परिणामस्वरूप करीब डेढ़ घंटे तक यातायात बंद रहा। जिससे न केवल क्षेत्र के व्यापारियों को नुकसान हुआ। कुछ दुकानदारों ने अपने सामान को बचाने के लिए दुकानों को बंद कर दिया, लेकिन तब तक उनका सामान पानी में भीगकर बर्बाद हो चुका था। अमृत योजना की पाइपलाइन की गुणवत्ता पर सवाल उन्नाव शहर और शुक्लागंज के लोगों को शुद्ध पेयजल उपलब्ध कराने के लिए 2018 में अमृत योजना को मंजूरी दी गई थी। योजना के पहले फेज में कई महत्वपूर्ण कार्य किए गए, जिनमें गंगा बैराज के पास इंटेकवेल और 80 एमएलडी क्षमता के वॉटर ट्रीटमेंट प्लांट का निर्माण शामिल था। हालांकि योजना के दूसरे फेज में पाइपलाइन के घटिया गुणवत्ता वाले मटेरियल के इस्तेमाल की कई बार शिकायतें सामने आई हैं। बीते माह टेस्टिंग में भी पाइपलाइन की गुणवत्ता को लेकर कई समस्याएं उभर कर आईं। पाइपलाइन की खराब गुणवत्ता के कारण अब जलनिगम को बड़ा नुकसान उठाना पड़ा है। विशेषज्ञों का मानना है कि अगर पाइपलाइन में हल्की सी भी टक्कर लगती है, तो वह टूट सकती है। ऐसे में आने वाले समय में जलनिगम को इस प्रकार के और भी मुद्दों का सामना करना पड़ सकता है। नगर पालिका की लापरवाही नगर पालिका के अधिकारियों का कहना है कि अमृत योजना की पाइपलाइन के नीचे नगर पालिका की पुरानी पाइपलाइन भी पड़ी थी। बिना पूर्व सूचना के जलनिगम ने खुदाई शुरू कर दी, जिससे पाइपलाइन टूट गई। नगर पालिका के अधिकारियों के अनुसार, यह घटना अनावश्यक खुदाई के कारण हुई, और इसके लिए जलनिगम को जिम्मेदार ठहराया गया। नगर पालिका ने जनवरी 2023 में अपनी पुरानी लाइन जलनिगम को हैंडओवर कर दी थी, लेकिन उसके बावजूद जलनिगम ने कोई निगरानी नहीं रखी, जिससे यह समस्या उत्पन्न हुई। जलनिगम के अधिकारियों की प्रतिक्रिया जलनिगम के एक्सईएन, पंकज रंजन झा ने इस घटना पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि नगर पालिका की पुरानी पाइपलाइन के नीचे बिना सूचना के खुदाई कराना गलत था। उन्होंने कहा कि इस प्रकार की लापरवाही के कारण जलनिगम और जनता को नुकसान उठाना पड़ा। उन्होंने स्वीकार किया कि पाइपलाइन में खराब मटेरियल के कारण कई बार टेस्टिंग फेल हो चुकी है, लेकिन इसका असर अब सामने आ रहा है।

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