झांसी में हत्या के दोषी को उम्रकैद:मालिक ने 500 रुपए देने से कर दिया था इनकार, नौकर ने पत्थर से कुचल दिया था सिर
झांसी में चार साल पहले नर्सरी संचालक की हत्या उसके नौकर ने महज पांच सौ रुपए के लिए कर दी थी। मालिक ने उसे पैसे देने से इंकार किया तो वह इसे अपना अपमान समझा और पत्थर से मालिक के सिर पर तब तक वार किए जबतक उसकी मौत नहीं हो गई। मजबूत पैरवी का नतीजा रहा कि न्यायालय अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश, न्यायालय कक्ष संख्या एक शक्तिपुत्र तोमर की अदालत ने अब अपराधी नौकर को उम्रकैद और 10 हजार रुपए के अर्थ दंड से दंडित किया है। अभियोजन की ओर से पैरवी कर रहे जिला शासकीय अधिवक्ता तेज सिंह गौर ने बताया कि आगरा के एत्माद्दौला निवासी व हाल निवासी सेल टैक्स ऑफिस के पास किराए के मकान में रहने वाले अशोक कुशवाह ने 10 जनवरी 2020 को थाना सीपरी बाजार में भाई की हत्या का मुकदमा दर्ज कराया था। उन्होंने रिपोर्ट दर्ज कराते हुए बताया था कि वह अपने छोटे भाई आनंद और धर्मेंद्र के साथ रहता है। उनकी अंबाबाय स्थित रामराज पेट्रोल पंप के पास पौधशाला है। आनंद पौधशाला का संचालन करता है। उसने बताया कि आनंद रात को घर नहीं आया तो उसे अगले दिन तलाश करते हुए पौधशाला पहुंचे। वहां आनंद मृत अवस्था में पड़ा था। इसके सर से खून बह रहा था। आशंका जाहिर की थी कि किसी ने उसके सर पर नुकीली वस्तु मारकर हत्या कर दी है। पुलिस ने नौकर को किया था नामज़द पुलिस ने इस घटना में अंबाबाई निवासी आनंद के नौकर मोहर सिंह राजपूत के खिलाफ अभियोग दर्ज कर उसे जेल भेज दिया था। साथ ही गहनता से जांच करते हुए न्यायालय में आरोप पत्र दाखिल कर दिया था। यहां अभयोजन ने भी मजबूत पैरवी करते हुए आरोपी को सजा दिलाने में अहम किरदार निभाया। थप्पड़ का बदला लेने के लिए दिया हत्या को अंजाम पुलिस आरोपी मोहर सिंह तक मृतक के लूटे गए मोबाइल से पहुंची थी। पुलिस ने हत्याकांड का खुलासा करते हुए बताया था कि हत्यारोपी मोहर सिंह राजपूत मृतक की पौधशाला में काम करता था। घटना वाले दिन हत्यारोपी ने मृतक से पांच सौ रुपए मांगे, जिसे आनंद ने देने से इंकार कर दिया। इस पर दोनों के गहमा गहमी हो गई। इस पर मृतक ने मोहर सिंह थप्पड़ मार दिया था। थप्पड़ का बदला लेने के लिए हत्यारोपी मोहर सिंह ने मृतक की मारपीट करते हुए नुकीली वस्तु से इसके सर पर प्रहार कर हत्या कर दी। मृतक के मोबाइल फोन से पकड़ा गया मोहर सिंह हत्या को अंजाम देने के बाद मोहर सिंह उसका मोबाइल फोन लेकर मौके से भाग गया था। इस अंधे कत्ल का राजफाश पुलिस को मृतक के लूटे गए मोबाइल की बरामदगी से हुआ था। न्यायालय में हुए दाखिल आरोप पत्र के बाद शासकीय अधिवक्ता अभियोजन की ओर ठोस पैरवी की। इसके चलते आरोपी मोहर सिंह राजपूत को उम्र कैद की सजा और दस हजार रुपए अर्थदंड से दंडित किया है।

झांसी में हत्या के दोषी को उम्रकैद: मालिक ने 500 रुपए देने से कर दिया था इनकार, नौकर ने पत्थर से कुचल दिया था सिर
झांसी में एक भयानक हत्या का मामला सामने आया है जहां एक नौकर ने अपने मालिक के साथ हुए विवाद के बाद उसके सिर को पत्थर से कुचलकर हत्या कर दी। यह घटना तब हुई जब मालिक ने मृतक को 500 रुपए देने से इनकार कर दिया, जिसके बाद नौकर ने सीधा अपने गुस्से का इजहार किया। इस जघन्य अपराध के दोषी को अब उम्रकैद की सजा सुनाई गई है। यह निर्णय स्थानीय अदालत ने सुनाया और मामले में सभी सबूतों के आधार पर दोषी की सजा का निर्धारण किया गया।
घटना का विवरण
जानकारी के अनुसार, victim एक छोटे व्यवसायी थे जो अपने काम के सिलसिले में अपने नौकर के साथ विभिन्न आर्थिक लेन-देन करते थे। विवाद तब शुरू हुआ जब मालिक ने नौकर को 500 रुपए देने से इनकार किया। इस पर गुस्साए नौकर ने एक पत्थर उठाया और मालिक के सिर पर ताबड़तोड़ वार कर दिया। घटना स्थल पर तुरंत पुलिस ने पहुंच कर स्थिति को नियंत्रित किया और आरोपी को गिरफ्तार किया।
आपराधिक न्याय प्रक्रिया
इस मामले में न्यायालय ने सुनवाई के दौरान कई गवाहों के बयान और सबूतों को ध्यान में रखा। आरोपी की मानसिक स्थिति और हालातों की भी जांच की गई। न्यायालय ने बताया कि यह हत्या न केवल एक संवेदनशील घटना थी, बल्कि यह एक महत्वपूर्ण मुद्दा भी है जो समाज में द्वार पर हिंसा और अपराध को दर्शाता है।
सामाजिक प्रभाव
इस तरह की घटनाओं से समाज में डर और असुरक्षा का माहौल पैदा होता है, जिससे नागरिकों के बीच विश्वास की कमी होती है। विशेषज्ञों का मानना है कि इस मामले के माध्यम से समाज में व्याप्त हिंसा के कारणों पर गहन विचार करने की आवश्यकता है।
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निर्णय और प्रतिक्रिया
इस निर्णय से न केवल पीड़ित के परिवार को न्याय मिला है, बल्कि यह समाज को एक सख्त संदेश भी देता है कि इस तरह के अपराधों को सहन नहीं किया जाएगा। लोगों की प्रतिक्रिया भी मिलीजुली रही है, जहां कुछ ने न्याय की प्रशंसा की है वहीं कुछ ने कानूनी प्रक्रिया में सुधार की आवश्यकता पर जोर दिया है।
निष्कर्ष
झांसी की यह घटना एक चेतावनी के रूप में है कि हमें अपने समाज में हिंसा और अपराध को रोकने के लिए सक्रियता के साथ काम करने की जरूरत है। हमें इस दिशा में एकजुट होकर प्रयास करने की आवश्यकता है ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो सके। Keywords: झांसी हत्या मामले, मालिक द्वारा 500 रुपये देने से इनकार, नौकर द्वारा हत्या, झांसी अपराध समाचार, उम्रकैद की सजा, हत्या का महान मामला, भारतीय न्यायालय फैसला, झांसी में कार्रवाई, सामाजिक हिंसा के कारण, इन्साफ का मामला
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