उन्नाव में पिता और 2 बेटों को उम्रकैद:बाजार से लौट रहे युवक की गोली मारकर हत्या की थी, 7 साल बाद आया फैसला

उन्नाव में 7 वर्ष पूर्व बडे़ भाई के साथ सामान लेने बाजार निकले युवक की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। बुधवार को मुकदमे की अंतिम सुनवाई अपर जिला जज तृतीय की न्यायालय में पूरी हुई। न्यायाधीश ने अभियोजन पक्ष की दलील व साक्ष्य के आधार पर आरोपी पिता और उसके दो बेटों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। न्यायालय ने तीनों दोषियों पर 7-7 हजार का जुर्माना लगाया है। माखी थानाक्षेत्र के मुलुक गडार निवासी सुरेश कुमार सिंह ने 5 नवंबर 2017 को थाने में तहरीर देकर मझकोरिया गांव निवासी सलीम, करीम पुत्र कल्लू और कल्लू पुत्र छेदा पर भाई रामकरन की हत्या करने की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। उनके अनुसार 5 नवंबर 2017 को वह भाई रामकरन सिंह के साथ रूपऊ गांव में लगने वाली बाजार से सब्जी लेने आया था। इसी दौरान वहां मझखोरिया गांव निवासी सलीम की रुपये के लेनदेन को लेकर ठकुरी खेड़ा मजरा मुलुक गड़ार निवासी प्रेम कुमार उर्फ भदई से कहासुनी होने लगी। शोर सुनकर भाई भी मौके पर चला गया। इसी दौरान सलीम ने धमकी देते हुए कहा- मुलुक गडार के किसी भी आदमी में हिम्मत हो तो मुझसे पैसे लेकर दिखाए और पूरे मुलुक गड़ार के लोगो को अपशब्द कहने लगा। पकड़ मारी थी गोली इस पर सलीम और भाई रामकरन के बीच गहमागहमी हो गई। सलीम जान से मारने की धमकी देता हुआ वहां से चला गया। शाम के समय बाजार से आटा चक्की पर जाते समय सलीम भाई करीम और पिता कल्लू ने भाई रामकरन पर हमला कर दिया। इस दौरान करीम और कल्लू ने भाई रामकरन को पकड़ लिया और सलीम ने उसे गोली मार दी। इससे उसकी मौके पर ही मृत्यु हो गयी। शोरगुल सुनकर ग्रामीणों को आता देखकर तीनों आरोपी जान से मारने की धमकी देते हुए मौके से भाग निकले। पुलिस ने शिकायत के आधार पर तीनों आरोपियों पर रिपोर्ट दर्ज की और उन्हें गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। कोर्ट ने तीनों ठहराया दोषी पुलिस ने आरोपी सलीम की निशानदेही पर घटना में प्रयुक्त असलहा बरामद किया। मुकदमे की विवेचना तत्कालीन एसओ धर्म प्रकाश शुक्ला ने की और तीनों आरोपियों के खिलाफ पर्याप्त साक्ष्य इकट्ठा कर 16 मार्च 2018 को न्यायालय में आरोप पत्र दाखिल किया। मुकदमे लंबे समय से अपर जिला जज तृतीय की न्यायालय में विचाराधीन था। बुधवार को मुकदमे की अंतिम सुनवाई के दौरान अभियोजन पक्ष से सरकारी वकील विनय शंकर दीक्षित आशु की ओर से पेश की गई दलीलों को सुनने के बाद न्यायाधीश कविता मिश्रा ने आरोपी सलीम उसके भाई करीम और पिता कल्लू को दोषी ठहराते हुए उम्रकैद की सजा सुनाई। न्यायालय ने आरोपी सलीम के खिलाफ दर्ज आर्म्स एक्ट के मुकदमे की सुनवाई भी पूरी की। इस मामले में सलीम को साढ़े तीन साल के कारावास और पांच हजार रूपए जुर्माने की सजा सुनाई है।

Nov 20, 2024 - 23:15
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उन्नाव में पिता और 2 बेटों को उम्रकैद:बाजार से लौट रहे युवक की गोली मारकर हत्या की थी, 7 साल बाद आया फैसला
उन्नाव में 7 वर्ष पूर्व बडे़ भाई के साथ सामान लेने बाजार निकले युवक की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। बुधवार को मुकदमे की अंतिम सुनवाई अपर जिला जज तृतीय की न्यायालय में पूरी हुई। न्यायाधीश ने अभियोजन पक्ष की दलील व साक्ष्य के आधार पर आरोपी पिता और उसके दो बेटों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। न्यायालय ने तीनों दोषियों पर 7-7 हजार का जुर्माना लगाया है। माखी थानाक्षेत्र के मुलुक गडार निवासी सुरेश कुमार सिंह ने 5 नवंबर 2017 को थाने में तहरीर देकर मझकोरिया गांव निवासी सलीम, करीम पुत्र कल्लू और कल्लू पुत्र छेदा पर भाई रामकरन की हत्या करने की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। उनके अनुसार 5 नवंबर 2017 को वह भाई रामकरन सिंह के साथ रूपऊ गांव में लगने वाली बाजार से सब्जी लेने आया था। इसी दौरान वहां मझखोरिया गांव निवासी सलीम की रुपये के लेनदेन को लेकर ठकुरी खेड़ा मजरा मुलुक गड़ार निवासी प्रेम कुमार उर्फ भदई से कहासुनी होने लगी। शोर सुनकर भाई भी मौके पर चला गया। इसी दौरान सलीम ने धमकी देते हुए कहा- मुलुक गडार के किसी भी आदमी में हिम्मत हो तो मुझसे पैसे लेकर दिखाए और पूरे मुलुक गड़ार के लोगो को अपशब्द कहने लगा। पकड़ मारी थी गोली इस पर सलीम और भाई रामकरन के बीच गहमागहमी हो गई। सलीम जान से मारने की धमकी देता हुआ वहां से चला गया। शाम के समय बाजार से आटा चक्की पर जाते समय सलीम भाई करीम और पिता कल्लू ने भाई रामकरन पर हमला कर दिया। इस दौरान करीम और कल्लू ने भाई रामकरन को पकड़ लिया और सलीम ने उसे गोली मार दी। इससे उसकी मौके पर ही मृत्यु हो गयी। शोरगुल सुनकर ग्रामीणों को आता देखकर तीनों आरोपी जान से मारने की धमकी देते हुए मौके से भाग निकले। पुलिस ने शिकायत के आधार पर तीनों आरोपियों पर रिपोर्ट दर्ज की और उन्हें गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। कोर्ट ने तीनों ठहराया दोषी पुलिस ने आरोपी सलीम की निशानदेही पर घटना में प्रयुक्त असलहा बरामद किया। मुकदमे की विवेचना तत्कालीन एसओ धर्म प्रकाश शुक्ला ने की और तीनों आरोपियों के खिलाफ पर्याप्त साक्ष्य इकट्ठा कर 16 मार्च 2018 को न्यायालय में आरोप पत्र दाखिल किया। मुकदमे लंबे समय से अपर जिला जज तृतीय की न्यायालय में विचाराधीन था। बुधवार को मुकदमे की अंतिम सुनवाई के दौरान अभियोजन पक्ष से सरकारी वकील विनय शंकर दीक्षित आशु की ओर से पेश की गई दलीलों को सुनने के बाद न्यायाधीश कविता मिश्रा ने आरोपी सलीम उसके भाई करीम और पिता कल्लू को दोषी ठहराते हुए उम्रकैद की सजा सुनाई। न्यायालय ने आरोपी सलीम के खिलाफ दर्ज आर्म्स एक्ट के मुकदमे की सुनवाई भी पूरी की। इस मामले में सलीम को साढ़े तीन साल के कारावास और पांच हजार रूपए जुर्माने की सजा सुनाई है।

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