कासगंज हिंसा मामले में लखनऊ हाईकोर्ट ने फैसला किया रिजर्व:दो दिनों तक चली बहस; तिरंगा यात्रा के दौरान चंदन गुप्ता की हुई थी हत्या

कासगंज में तिरंगा यात्रा के समय हुए चंदन हत्याकांड मामले को लेकर लखनऊ हाई कोर्ट में सुनवाई पूरी हो गई है। इस मामले में 2 दिनों तक चली बहस के बाद न्यायालय ने दोनों पक्षों की सुनवाई के बाद आदेश को सुरक्षित कर लिया है। मामले में जल्दी आदेश आने की संभावना जताई जा रही है। यह आदेश न्यायमूर्ति राजीव सिंह की एकल पीठ ने अभियुक्त नसीम जावेद की याचिका पर सुनवाई के बाद अपना आदेश सुरक्षित किया। अभियुक्त नसीम जावेद की ओर से उपस्थित वरिष्ठ अधिवक्ता सतीश चंद्र मिश्रा ने न्यायालय को बताया कि एनआईए एक्ट की धारा 6 के तहत केंद्र सरकार से मामले की विवेचना के लिए अनुमति नहीं ली गई है। जो आरोप तय किए गए उन पर भी रहेगी रोक न्यायालय को यह भी बताया गया कि राजद्रोह से संबंधित आईपीसी की धारा 124 ए के तहत आरोप तय किए जाने पर उच्चतम न्यायालय ने एसजी वोम्बटकेरे के मामले में दिए अपने फैसले के तहत रोक लगा चुकी है। साथ ही फैसले में यह भी कहा गया कि जिन मामलों में 124 ए के तहत आरोप तय कर दिए गए हैं, उन पर भी रोक रहेगी। न्यायालय को यह भी बताया गया की उच्चतम न्यायालय के आदेश के बाद भी इस मामले में 124 ए के तहत भी ट्रायल चल रहा है। अंतिम सुनवाई होने जा रही है। सुनवाई के समय राज्य सरकार की ओर से उपस्थित शासकीय अधिवक्ता डॉ. वीके सिंह ने न्यायालय को अपने बहस के दौरान बताया कि इस मामले में उच्चतम न्यायालय का आदेश आने से पहले ही 124 ए के तहत आरोप तय कर दिया गया था। मामले में 124 ए के संबंध में ट्रायल चल रहा है अथवा नहीं, इस बात को ट्रायल कोर्ट से स्पष्ट कराए बगैर अभियुक्त ने वर्तमान याचिका दाखिल की है। 30 महीने से एनआईए कोर्ट में चल रहा ट्रायल ​​​​​​​ ​​​​​​​न्यायालय को यह भी बताया गया की मामले में 30 महीने से एनआईए कोर्ट में ट्रायल चल रहा है, लेकिन अभियुक्त ने वर्तमान याचिका तब दाखिल की है। जबकि ट्रायल पूरा हो चुका है। अंतिम बहस की जानी है। दोनों पक्षों की बहस सुनने के बाद न्यायालय ने अपने आदेश को सुरक्षित कर लिया है। मामले में जल्दी आदेश आने की संभावना है।

Nov 12, 2024 - 20:20
 0  432k
कासगंज हिंसा मामले में लखनऊ हाईकोर्ट ने फैसला किया रिजर्व:दो दिनों तक चली बहस; तिरंगा यात्रा के दौरान चंदन गुप्ता की हुई थी हत्या
कासगंज में तिरंगा यात्रा के समय हुए चंदन हत्याकांड मामले को लेकर लखनऊ हाई कोर्ट में सुनवाई पूरी हो गई है। इस मामले में 2 दिनों तक चली बहस के बाद न्यायालय ने दोनों पक्षों की सुनवाई के बाद आदेश को सुरक्षित कर लिया है। मामले में जल्दी आदेश आने की संभावना जताई जा रही है। यह आदेश न्यायमूर्ति राजीव सिंह की एकल पीठ ने अभियुक्त नसीम जावेद की याचिका पर सुनवाई के बाद अपना आदेश सुरक्षित किया। अभियुक्त नसीम जावेद की ओर से उपस्थित वरिष्ठ अधिवक्ता सतीश चंद्र मिश्रा ने न्यायालय को बताया कि एनआईए एक्ट की धारा 6 के तहत केंद्र सरकार से मामले की विवेचना के लिए अनुमति नहीं ली गई है। जो आरोप तय किए गए उन पर भी रहेगी रोक न्यायालय को यह भी बताया गया कि राजद्रोह से संबंधित आईपीसी की धारा 124 ए के तहत आरोप तय किए जाने पर उच्चतम न्यायालय ने एसजी वोम्बटकेरे के मामले में दिए अपने फैसले के तहत रोक लगा चुकी है। साथ ही फैसले में यह भी कहा गया कि जिन मामलों में 124 ए के तहत आरोप तय कर दिए गए हैं, उन पर भी रोक रहेगी। न्यायालय को यह भी बताया गया की उच्चतम न्यायालय के आदेश के बाद भी इस मामले में 124 ए के तहत भी ट्रायल चल रहा है। अंतिम सुनवाई होने जा रही है। सुनवाई के समय राज्य सरकार की ओर से उपस्थित शासकीय अधिवक्ता डॉ. वीके सिंह ने न्यायालय को अपने बहस के दौरान बताया कि इस मामले में उच्चतम न्यायालय का आदेश आने से पहले ही 124 ए के तहत आरोप तय कर दिया गया था। मामले में 124 ए के संबंध में ट्रायल चल रहा है अथवा नहीं, इस बात को ट्रायल कोर्ट से स्पष्ट कराए बगैर अभियुक्त ने वर्तमान याचिका दाखिल की है। 30 महीने से एनआईए कोर्ट में चल रहा ट्रायल ​​​​​​​ ​​​​​​​न्यायालय को यह भी बताया गया की मामले में 30 महीने से एनआईए कोर्ट में ट्रायल चल रहा है, लेकिन अभियुक्त ने वर्तमान याचिका तब दाखिल की है। जबकि ट्रायल पूरा हो चुका है। अंतिम बहस की जानी है। दोनों पक्षों की बहस सुनने के बाद न्यायालय ने अपने आदेश को सुरक्षित कर लिया है। मामले में जल्दी आदेश आने की संभावना है।

What's Your Reaction?

like

dislike

love

funny

angry

sad

wow