गोरखपुर बना औद्योगिक विकास में पूर्वांचल का हब:5500 एकड़ में तैयार हो रहा नया कॉरिडोर, हजारों लोगों को मिलेगा रोजगार

गोरखपुर औद्योगिक विकास प्राधिकरण (GIDA) द्वारा किए गए प्रयासों ने शहर को निवेशकों के लिए आकर्षक गंतव्य बना दिया है। गोरखपुर लिंक एक्सप्रेसवे के दोनों ओर 800 एकड़ में औद्योगिक कॉरिडोर का निर्माण हो रहा है, वहीं धुरियापार में 5500 एकड़ में और एक विशाल औद्योगिक गलियारे की योजना आकार ले रही है। 30 नवंबर को मनाया जाएगा GIDA 35वां स्थापना दिवस 30 नवंबर को GIDA का 35वां स्थापना दिवस मनाया जाएगा, और इस अवसर पर गोरखपुर के औद्योगिक विकास की नई कहानी प्रस्तुत होगी। GIDA की शुरुआत 1989 में हुई थी, लेकिन पहले 28 वर्षों तक औद्योगिक गतिविधियाँ काफी मंद रहीं। ढांचागत सुविधाओं की कमी, कानून-व्यवस्था की समस्याएं और निवेशकों को आकर्षित करने वाली नीतियों का अभाव था। ऐसे में GIDA क्षेत्र में विकास की रफ्तार धीमी रही। योगी सरकार के योगदान से गोरखपुर को मिली नई दिशा मुख्यमंत्री योगी की सरकार ने न केवल बेहतर वातावरण प्रदान किया, बल्कि उद्यमियों और निवेशकों को आकर्षित करने के लिए कई प्रोत्साहन योजनाएँ लागू कीं। इस दिशा में GIDA ने गोरखपुर लिंक एक्सप्रेसवे के दोनों किनारों पर 800 एकड़ में औद्योगिक कॉरिडोर विकसित करने का निर्णय लिया, जिससे निवेशकों का रुझान बढ़ा है। निवेशकों का बढ़ता रुझान इस औद्योगिक गलियारे में उद्योगों की स्थापना भी शुरू हो चुकी है। मसलन, मल्टीनेशनल कंपनी पेप्सिको की फ्रेंचाइजी वरुण बेवरेजेज ने 1100 करोड़ रुपये का निवेश करके एक बॉटलिंग प्लांट स्थापित किया है। GIDA ने प्लास्टिक उद्योग के लिए 88 एकड़ में एक प्लास्टिक पार्क विकसित किया है, जिसमें 92 इकाइयाँ स्थापित की जाएंगी। यह परियोजना 5000 से अधिक लोगों के लिए रोजगार सृजन करेगी। कच्चे माल की आपूर्ति और कुशल श्रमिकों की उपलब्धता प्लास्टिक पार्क के लिए GIDA और गैस ऑथॉरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड (गेल) के बीच एक महत्वपूर्ण एमओयू हुआ है, जिसके तहत गेल की ओर से परियोजना स्थल पर कच्चा माल उपलब्ध कराया जाएगा। इसके अलावा, प्लास्टिक इंजीनियरिंग की गुणवत्ता में सुधार के लिए GIDA द्वारा सीपेट (सेंट्रल इंस्टिट्यूट ऑफ प्लास्टिक इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी) के लिए 5 एकड़ भूमि भी मुहैया कराई जाएगी। GIDA का उत्कृष्ट औद्योगिक क्षेत्र बनाने की दिशा में कदम GIDA के मुख्य कार्यपालक अधिकारी, अनुज मलिक ने बताया कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में GIDA को एक उत्कृष्ट औद्योगिक क्षेत्र के रूप में विकसित किया जा रहा है। लैंड बैंक का विस्तार कर निवेशकों को उनकी आवश्यकता के अनुसार भूखंड प्रदान किए जा रहे हैं। आगामी स्थापना दिवस समारोह में मुख्यमंत्री के समक्ष 85 निवेशकों को भूखंड आवंटन पत्र सौंपे जाएंगे। धुरियापार और भविष्य की योजनाएं इसके अलावा, GIDA द्वारा प्लास्टिक पार्क, रेडीमेड गारमेंट पार्क और फ्लैटेड फैक्ट्रियों के निर्माण की प्रक्रिया भी चल रही है। धुरियापार क्षेत्र में 5500 एकड़ में औद्योगिक कॉरिडोर के लिए भूमि अधिग्रहण का कार्य भी तेज़ी से चल रहा है, जिससे गोरखपुर को औद्योगिक दृष्टि से एक नया मुकाम मिलेगा।

Nov 28, 2024 - 17:20
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गोरखपुर बना औद्योगिक विकास में पूर्वांचल का हब:5500 एकड़ में तैयार हो रहा नया कॉरिडोर, हजारों लोगों को मिलेगा रोजगार
गोरखपुर औद्योगिक विकास प्राधिकरण (GIDA) द्वारा किए गए प्रयासों ने शहर को निवेशकों के लिए आकर्षक गंतव्य बना दिया है। गोरखपुर लिंक एक्सप्रेसवे के दोनों ओर 800 एकड़ में औद्योगिक कॉरिडोर का निर्माण हो रहा है, वहीं धुरियापार में 5500 एकड़ में और एक विशाल औद्योगिक गलियारे की योजना आकार ले रही है। 30 नवंबर को मनाया जाएगा GIDA 35वां स्थापना दिवस 30 नवंबर को GIDA का 35वां स्थापना दिवस मनाया जाएगा, और इस अवसर पर गोरखपुर के औद्योगिक विकास की नई कहानी प्रस्तुत होगी। GIDA की शुरुआत 1989 में हुई थी, लेकिन पहले 28 वर्षों तक औद्योगिक गतिविधियाँ काफी मंद रहीं। ढांचागत सुविधाओं की कमी, कानून-व्यवस्था की समस्याएं और निवेशकों को आकर्षित करने वाली नीतियों का अभाव था। ऐसे में GIDA क्षेत्र में विकास की रफ्तार धीमी रही। योगी सरकार के योगदान से गोरखपुर को मिली नई दिशा मुख्यमंत्री योगी की सरकार ने न केवल बेहतर वातावरण प्रदान किया, बल्कि उद्यमियों और निवेशकों को आकर्षित करने के लिए कई प्रोत्साहन योजनाएँ लागू कीं। इस दिशा में GIDA ने गोरखपुर लिंक एक्सप्रेसवे के दोनों किनारों पर 800 एकड़ में औद्योगिक कॉरिडोर विकसित करने का निर्णय लिया, जिससे निवेशकों का रुझान बढ़ा है। निवेशकों का बढ़ता रुझान इस औद्योगिक गलियारे में उद्योगों की स्थापना भी शुरू हो चुकी है। मसलन, मल्टीनेशनल कंपनी पेप्सिको की फ्रेंचाइजी वरुण बेवरेजेज ने 1100 करोड़ रुपये का निवेश करके एक बॉटलिंग प्लांट स्थापित किया है। GIDA ने प्लास्टिक उद्योग के लिए 88 एकड़ में एक प्लास्टिक पार्क विकसित किया है, जिसमें 92 इकाइयाँ स्थापित की जाएंगी। यह परियोजना 5000 से अधिक लोगों के लिए रोजगार सृजन करेगी। कच्चे माल की आपूर्ति और कुशल श्रमिकों की उपलब्धता प्लास्टिक पार्क के लिए GIDA और गैस ऑथॉरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड (गेल) के बीच एक महत्वपूर्ण एमओयू हुआ है, जिसके तहत गेल की ओर से परियोजना स्थल पर कच्चा माल उपलब्ध कराया जाएगा। इसके अलावा, प्लास्टिक इंजीनियरिंग की गुणवत्ता में सुधार के लिए GIDA द्वारा सीपेट (सेंट्रल इंस्टिट्यूट ऑफ प्लास्टिक इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी) के लिए 5 एकड़ भूमि भी मुहैया कराई जाएगी। GIDA का उत्कृष्ट औद्योगिक क्षेत्र बनाने की दिशा में कदम GIDA के मुख्य कार्यपालक अधिकारी, अनुज मलिक ने बताया कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में GIDA को एक उत्कृष्ट औद्योगिक क्षेत्र के रूप में विकसित किया जा रहा है। लैंड बैंक का विस्तार कर निवेशकों को उनकी आवश्यकता के अनुसार भूखंड प्रदान किए जा रहे हैं। आगामी स्थापना दिवस समारोह में मुख्यमंत्री के समक्ष 85 निवेशकों को भूखंड आवंटन पत्र सौंपे जाएंगे। धुरियापार और भविष्य की योजनाएं इसके अलावा, GIDA द्वारा प्लास्टिक पार्क, रेडीमेड गारमेंट पार्क और फ्लैटेड फैक्ट्रियों के निर्माण की प्रक्रिया भी चल रही है। धुरियापार क्षेत्र में 5500 एकड़ में औद्योगिक कॉरिडोर के लिए भूमि अधिग्रहण का कार्य भी तेज़ी से चल रहा है, जिससे गोरखपुर को औद्योगिक दृष्टि से एक नया मुकाम मिलेगा।

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