वाराणसी में नगर आयुक्त को ठेले-पटरी वालों ने दिखाया आईना:पुलिस उत्पीड़न से आजिज कारोबारियों ने पूछा, निगम क्यों नहीं अपनाता सारनाथ मॉडल

पुलिस उत्पीड़न के खिलाफ अपनी दुकानों को उजड़ने से बचाने के लिए नगर आयुक्त के यहां पहुंचे ठेला-पटरी कारोबारियों ने उन्हें ही भारत सरकार का राजपत्र ठीक से पढ़कर आने की नसीहत दे डाली। इतना ही नहीं कारोबारियों ने नगर निगम को सारनाथ में वर्ल्ड बैंक, पर्यटन विभाग की तरफ से तैयार स्ट्रीट वेंडिंग जोन की तर्ज पर पूरे शहर में ऐसे ही मॉडल बनाने की सलाह दे दी। कारोबारियों को उजाड़ने के बजाय उनके कारोबार को संवारने की जरूरत है। लंका के ठेला पटरी वालों ने सुनाई अपन दर्द लंका इलाके में पुलिस सड़क से 25 फ़ीट दूर कामधेनु अपार्टमेंट के पास ठेला-पटरी लगाने वालों के खिलाफ अतिक्रमण के नामपर कार्रवाई कर भयादोहन किया जा रहा है। वहीं कुछ ठेले वालों गलत तरीके से फर्जी लाइसेंस देकर उन्हें राहत भी दी जा रही है। नगर आयुक्त को इसकी जानकारी है लेकिन वह चुप्पी साधे हैं। अतिक्रमण की बात कही तो दिखाया पथ विक्रय अधिनियम नगर निगम में जन सुनवाई के दौरान स्ट्रीट वेंडर सेवा समिति के अध्यक्ष ऋषि नारायण के साथ लंका क्षेत्र के ठेला पटरी वाले कारोबारी पहुंचे थे। उन्होंने पुलिसिया कार्रवाई को लेकर विरोध जताया तो नगर आयुक्त ने अतिक्रमण का हवाला देते हुए पुलिस को कार्रवाई से रोकने के लिए मना कर दिया। नगर आयुक्त के इनकार पर ऋषि नारायण ने भारत के राजपत्र का हवाला देते हुए कहा कि भारत सरकार ने स्पष्ट कहा है कि जब तक वेंडर को लाइसेंस, पुनर्स्थापना के लिए स्थान न उपलब्ध कराया जाए तब तक उन्हें विस्थापित न किया जाए। इसपर नगर आयुक्त ने ऐसे किसी नियम की जानकारी नहीं होने की बात कही। ठेला पटरी कारोबारी पूरी तैयारी के साथ आए थे उन्होंने तत्काल अपने मोबाइल में अपलोड भारत सरकार के राजपत्र में पथ विक्रय का विनियमन दिखाने के साथ ही अध्याय दिखा दिया। नगर आयुक्त के पास इसका कोई जवाब नहीं था। उन्होंने सिर्फ इतना कहा कि ठीक है इस मामले को देखते हैं कि क्या हो सकता है।

Nov 19, 2024 - 17:50
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वाराणसी में नगर आयुक्त को ठेले-पटरी वालों ने दिखाया आईना:पुलिस उत्पीड़न से आजिज कारोबारियों ने पूछा, निगम क्यों नहीं अपनाता सारनाथ मॉडल
पुलिस उत्पीड़न के खिलाफ अपनी दुकानों को उजड़ने से बचाने के लिए नगर आयुक्त के यहां पहुंचे ठेला-पटरी कारोबारियों ने उन्हें ही भारत सरकार का राजपत्र ठीक से पढ़कर आने की नसीहत दे डाली। इतना ही नहीं कारोबारियों ने नगर निगम को सारनाथ में वर्ल्ड बैंक, पर्यटन विभाग की तरफ से तैयार स्ट्रीट वेंडिंग जोन की तर्ज पर पूरे शहर में ऐसे ही मॉडल बनाने की सलाह दे दी। कारोबारियों को उजाड़ने के बजाय उनके कारोबार को संवारने की जरूरत है। लंका के ठेला पटरी वालों ने सुनाई अपन दर्द लंका इलाके में पुलिस सड़क से 25 फ़ीट दूर कामधेनु अपार्टमेंट के पास ठेला-पटरी लगाने वालों के खिलाफ अतिक्रमण के नामपर कार्रवाई कर भयादोहन किया जा रहा है। वहीं कुछ ठेले वालों गलत तरीके से फर्जी लाइसेंस देकर उन्हें राहत भी दी जा रही है। नगर आयुक्त को इसकी जानकारी है लेकिन वह चुप्पी साधे हैं। अतिक्रमण की बात कही तो दिखाया पथ विक्रय अधिनियम नगर निगम में जन सुनवाई के दौरान स्ट्रीट वेंडर सेवा समिति के अध्यक्ष ऋषि नारायण के साथ लंका क्षेत्र के ठेला पटरी वाले कारोबारी पहुंचे थे। उन्होंने पुलिसिया कार्रवाई को लेकर विरोध जताया तो नगर आयुक्त ने अतिक्रमण का हवाला देते हुए पुलिस को कार्रवाई से रोकने के लिए मना कर दिया। नगर आयुक्त के इनकार पर ऋषि नारायण ने भारत के राजपत्र का हवाला देते हुए कहा कि भारत सरकार ने स्पष्ट कहा है कि जब तक वेंडर को लाइसेंस, पुनर्स्थापना के लिए स्थान न उपलब्ध कराया जाए तब तक उन्हें विस्थापित न किया जाए। इसपर नगर आयुक्त ने ऐसे किसी नियम की जानकारी नहीं होने की बात कही। ठेला पटरी कारोबारी पूरी तैयारी के साथ आए थे उन्होंने तत्काल अपने मोबाइल में अपलोड भारत सरकार के राजपत्र में पथ विक्रय का विनियमन दिखाने के साथ ही अध्याय दिखा दिया। नगर आयुक्त के पास इसका कोई जवाब नहीं था। उन्होंने सिर्फ इतना कहा कि ठीक है इस मामले को देखते हैं कि क्या हो सकता है।

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