RGEBL संस्था के कर्मी की एक्सीडेंट में मौत:कन्नौज में परिजनों ने शव रखकर कार्यालय में किया हंगामा, मुआवजा और नौकरी पर माने

कन्नौज जिले में आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे पर बाइक की टक्कर से आरजीईबीएल कर्मचारी की अस्पताल में मौत हो गई। परिजन उसका शव लेकर संस्था के ऑफिस पहुंच गए। जहां उन्होंने हंगामा किया। सूचना पर पहुंची पुलिस ने संस्था के अधिकारियों और परिजनों के बीच बातचीत करवा कर मामले को रफादफा कर दिया। सौरिख थाना क्षेत्र के वीरभान नगला गांव निवासी धर्मेंद्र दुबे उर्फ भूरे आरजीईबीएल कम्पनी में सुपरवाइजर के पद पर काम कर रहे थे। एक दिन पहले आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे पर वह किलोमीटर संख्या 154 पर पौधे गिनवा रहे थे, तभी एक तेज रफ्तार बाइक ने उन्हें टक्कर मार दी। जिससे वह बुरी तरह घायल हो गए। सूचना पर पहुंचे यूपीडा कर्मियों ने उन्हें इटावा जिले के सैफई मेडिकल कॉलेज में भर्ती करवा दिया। जहां इलाज के दौरान उनकी शनिवार को मौत हो गई। पोस्टमार्टम के बाद उनका शव लेकर परिजन सौरिख स्थित आरजीईबीएल कार्यालय पहुंच गए। जहां शव रखकर उन्होंने हंगामा शुरू कर दिया। परिजनों ने शव का अंतिम संस्कार कराने से मना कर दिया। मामले की जानकारी मिलते ही थाना प्रभारी जेपी शर्मा व संतोष चंदेल फोर्स के साथ मौके पर पहुंच गए। पुलिस ने परिजनों को शांत कर उनसे संस्था के अधिकारियों की बात कराई। बताया गया कि 3 घंटों तक चली बातचीत के बाद संस्था की ओर से मृतक पत्नी सुधा को 5 लाख की आर्थिक मदद, 15 हजार रुपए महीने की नौकरी देने की बात कही गई, जिससे वह अपने अपने दो बच्चों रुद्र और अनवी का पालन-पोषण करे सकेंगी। इस बात पर सहमति बनने के बाद परिजन अंतिम संस्कार करने को राजी हो गए।

Nov 16, 2024 - 21:05
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RGEBL संस्था के कर्मी की एक्सीडेंट में मौत:कन्नौज में परिजनों ने शव रखकर कार्यालय में किया हंगामा, मुआवजा और नौकरी पर माने
कन्नौज जिले में आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे पर बाइक की टक्कर से आरजीईबीएल कर्मचारी की अस्पताल में मौत हो गई। परिजन उसका शव लेकर संस्था के ऑफिस पहुंच गए। जहां उन्होंने हंगामा किया। सूचना पर पहुंची पुलिस ने संस्था के अधिकारियों और परिजनों के बीच बातचीत करवा कर मामले को रफादफा कर दिया। सौरिख थाना क्षेत्र के वीरभान नगला गांव निवासी धर्मेंद्र दुबे उर्फ भूरे आरजीईबीएल कम्पनी में सुपरवाइजर के पद पर काम कर रहे थे। एक दिन पहले आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे पर वह किलोमीटर संख्या 154 पर पौधे गिनवा रहे थे, तभी एक तेज रफ्तार बाइक ने उन्हें टक्कर मार दी। जिससे वह बुरी तरह घायल हो गए। सूचना पर पहुंचे यूपीडा कर्मियों ने उन्हें इटावा जिले के सैफई मेडिकल कॉलेज में भर्ती करवा दिया। जहां इलाज के दौरान उनकी शनिवार को मौत हो गई। पोस्टमार्टम के बाद उनका शव लेकर परिजन सौरिख स्थित आरजीईबीएल कार्यालय पहुंच गए। जहां शव रखकर उन्होंने हंगामा शुरू कर दिया। परिजनों ने शव का अंतिम संस्कार कराने से मना कर दिया। मामले की जानकारी मिलते ही थाना प्रभारी जेपी शर्मा व संतोष चंदेल फोर्स के साथ मौके पर पहुंच गए। पुलिस ने परिजनों को शांत कर उनसे संस्था के अधिकारियों की बात कराई। बताया गया कि 3 घंटों तक चली बातचीत के बाद संस्था की ओर से मृतक पत्नी सुधा को 5 लाख की आर्थिक मदद, 15 हजार रुपए महीने की नौकरी देने की बात कही गई, जिससे वह अपने अपने दो बच्चों रुद्र और अनवी का पालन-पोषण करे सकेंगी। इस बात पर सहमति बनने के बाद परिजन अंतिम संस्कार करने को राजी हो गए।

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