भारत ने सुनाया जबरदस्त गुहार, कनाडा की बॉर्डर पुलिस में खालिस्तानी आतंकी शामिल:शौर्य चक्र विजेता की हत्या का आरोपी है संदीप सिंह, ISI का एजेंट भी रह चुका - indiatwoday
भारत सरकार ने कनाडा को उसकी बॉर्डर पुलिस में शामिल एक खालिस्तानी आतंकी के होने को लेकर आगाह किया है। कनाडा की बॉर्डर पुलिस के अधिकारी के रूप में काम कर रहे इस आतंकी का नाम संदीप सिंह सिद्धू उर्फ सनी है। सनी के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में शौर्य चक्र विजेता बलविंदर सिंह की हत्या के मामले में चार्जशीट दाखिल है। भारत की राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) के मुताबिक सनी पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI का भी एजेंट था। सनी को 2020 में संधू की हत्या के मामले में NIA की वांटेड लिस्ट में शामिल किया था। संधू की हत्या उनके घर पंजाब के तरनतारन जिले के भिखीविंड में कर दी गई थी। बलविंदर सिंह संधू को खालिस्तानी आतंकवाद के खिलाफ उनके प्रयासों के लिए शौर्य चक्र से नवाजा गया था। ‘कनाडा में बैठे खालिस्तानियों ने रची थी हत्या की साजिश’ NIA ने इसी हफ्ते सुप्रीम कोर्ट को बताया था कि 2020 में शौर्य चक्र विजेता बलविंदर सिंह संधू की हत्या के पीछे कनाडा में रह रहे खालिस्तानी आतंकवादी मास्टरमाइंड थे। NIA ने बताया कि संधू की हत्या के लिए कनाडा में बैठे खालिस्तान लिबरेशन फोर्स (KLF) के ऑपरेटिव सनी टोरंटो, सुखमीत पाल सिंह सुख और लखवीर सिंह रोड़े ने ही प्लॉटिंग की थी। लखवीर सिंह रोड़े खालिस्तान आतंकी भिंडरावाले का भतीजा है और KLF का प्रमुख है। KLF के इशारों पर जनवरी 2016 से अक्टूबर 2017 तक 7 लोगों की हत्याएं हुईं थीं। इनमें खालिस्तान का समर्थन न करने वाले कई हिंदू नेता भी मारे गए थे। क्या है संधू हत्याकांड? एंटी खालिस्तानी विचार रखने के वाले बलविंदर सिंह को 10 अक्टूबर 2020 को स्कूल में ही बने उनके घर में दो आतंकियों ने गोलियां मारी थीं। हमले में बलविंदर सिंह की मौके पर ही मौत हो गई थी। हत्याकांड का केस पहले भिखिविंड थाने में दर्ज किया गया था। आतंकी कनेक्शन सामने आने के बाद 26 जनवरी 2021 को NIA ने केस को अपने हाथों में ले लिया था। बॉर्डर पार से कनाडाई एजेंट को ड्रग्स की तस्करी करने से रोकने पर ISI एजेंट और KLF आतंकी सिद्धू ने उनकी हत्या की थी। इसके बाद से वह NIA की वांटेड लिस्ट में था। इस घटना को अंजाम देने के लिए आतंकी रोडे ने सुखमीत पाल सिंह को किया था। रोडे के इशारों पर ही आतंकी इंद्रजीत सिंह ने दो शार्प शूटर गुरजीत सिंह और सुखदीप सिंह को हायर किया था। फिर सभी ने मिलकर इस घटना को अंजाम दिया। यह मामला भारत और कनाडा के बीच तनातनी के बीच उजागर हुआ है। कनाडा भारत के राजनयिकों पर निज्जर हत्या मामले में शामिल होने के आरोप लगाता रहा है। भारत ने कनाडा के आरोपों को झूठा बताते हुए अपने डिप्लोमेट्स को वापस बुला लिया था। भारत ने कनाडा में अपने राजनायिकों की सुरक्षा को खतरा बतया था। हालांकि बाद में कनाडा के प्रधानमंत्री ट्रूडो ने भी माना था कि आरोप बिना किसी सबूत के लगे गए थे। ............................................................. कनाडा से जुडी ये खबर भी पढ़ें... कनाडा बोला- भारत लॉरेंस गैंग से टारगेट किलिंग करा रहा:निशाने पर खालिस्तानी; भारत का जवाब- वही पुराने ट्रूडो, वही पुरानी बातें, वजह भी पुरानी कनाडा के पुलिस विभाग RCMP में असिस्टेंट कमिश्नर ब्रिजिटी गौविन ने कहा कि लॉरेंस गैंग का भारतीय सरकार के एजेंट्स के साथ कनेक्शन है। इससे पहले कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने भारत सरकार के एजेंट्स पर खुफिया जानकारी जुटाने, टारगेट किलिंग, कनाडा के नागरिकों को धमकाने और हिंसा में शामिल होने का आरोप लगाया था। पूरी खबर पढ़ें...
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