VI का लॉस 6.6% घटा, ₹7166 करोड़ हुआ:चौथी तिमाही में रेवेन्यू ₹11,013 करोड़ रहा; कंपनी को बोर्ड से ₹20,000 करोड़ जुटाने की मंजूरी मिली
टेलीकॉम कंपनी वोडाफोन आइडिया लिमिटेड को वित्त वर्ष 2024-25 की चौथी तिमाही में 7,166 करोड़ रुपए का शुद्ध घाटा (कॉन्सोलिडेटेड नेट लॉस) हुआ है। सालाना आधार पर यह 6.63% घटा है। एक साल पहले की समान तिमाही में कंपनी को 7,675 करोड़ रुपए का लॉस हुआ था। जनवरी-मार्च तिमाही में ऑपरेशन से कंपनी का रेवेन्यू 11,013 करोड़ रुपए रहा। एक साल पहले की समान तिमाही में वोडाफोन आइडिया ने 10,606 करोड़ रुपए का रेवेन्यू जनरेट किया था। सालाना आधार पर यह 3.83% बढ़ा है। वस्तुओं और सेवाओं को बेचने से मिली राशि को रेवेन्यू या राजस्व कहा जाता है। VI ने शुक्रवार (30 मई) को जनवरी-मार्च तिमाही और सालाना नतीजे जारी किए हैं। कंपनी को बोर्ड से ₹20,000 करोड़ जुटाने की मंजूरी मिली साथ ही कंपनी के बोर्ड ने विस्तार के लिए 20,000 करोड़ रुपए जुटाने की मंजूरी भी दे दी है। कंपनी 2 लाख करोड़ रुपए से ज्यादा के कर्ज में डूबी हुई है। वोडाफोन आइडिया का ARPU 175 रुपए रहा जनवरी-मार्च तिमाही के दौरान वोडाफोन आइडिया का 'एवरेज रेवेन्यू प्रति यूजर' (ARPU) 14.2% बढ़कर 175 रुपए रहा। पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में यह 153 रुपए था। इस साल में अब तक शेयर का परफॉर्मेंस कैसा रहा? वोडाफोन आइडिया का शेयर शुक्रवार को 3.22% की गिरावट के साथ 6.91 रुपए के स्तर पर बंद हुआ। कंपनी का शेयर एक महीने में 3% और 6 महीने में 17% गिरा है। एक साल में कंपनी का शेयर 55% चढ़ा है। वोडाफोन आइडिया का मार्केट कैप 74.97 हजार करोड़ रुपए है।

VI का लॉस 6.6% घटा, ₹7166 करोड़ हुआ: चौथी तिमाही में रेवेन्यू ₹11,013 करोड़ रहा; कंपनी को बोर्ड से ₹20,000 करोड़ जुटाने की मंजूरी मिली
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टेलीकॉम कंपनी वोडाफोन आइडिया लिमिटेड (VI) ने वित्त वर्ष 2024-25 की चौथी तिमाही के अपने वित्तीय परिणाम जारी किए, जिसमें एक सकारात्मक संकेत ये रहा है कि कंपनी ने 7,166 करोड़ रुपये का शुद्ध घाटा दर्ज किया, जो वर्ष दर वर्ष 6.63% कम है। यह एक साल पहले की समान तिमाही में 7,675 करोड़ रुपये के घाटे की तुलना में बेहतर प्रदर्शन को दर्शाता है।
रेवेन्यू में वृद्धि
जनवरी-मार्च की तिमाही में कंपनी का कुल ऑपरेशनल रेवेन्यू 11,013 करोड़ रुपये रहा। यह भी एक अच्छी खबर है क्योंकि पिछले वर्ष के मुकाबले इसमें 3.83% की वृद्धि देखी गई है, जहां पिछले वर्ष की समान तिमाही में वोडाफोन आइडिया का रेवेन्यू 10,606 करोड़ रुपये था। यह वृद्धि कंपनी की प्रयासों का नतीजा है, जिससे ग्राहकों की संख्या बढ़ाने में सहायता मिली है।
कंपनी की वित्तीय स्थिति
कंपनी ने इस तिमाही में जो अरबों रुपये का घाटा बताया है, उसे समझने के लिए यह ध्यान रखना जरूरी है कि वोडाफोन आइडिया अभी भी 2 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा के कर्ज में डूबी हुई है। ऐसे में, कंपनी ने अपने बोर्ड से ₹20,000 करोड़ जुटाने की मंजूरी प्राप्त की है, जो कि उसके विस्तार की योजनाओं का हिस्सा है। यह राशि नए निवेश के लिए काम आएगी और कंपनी की वित्तीय स्थिरता को बढ़ाने में सहायक सिद्ध होगी।
एआरपीयू में सुधार
वोडाफोन आइडिया का "एवरेज रेवेन्यू प्रति यूजर" (ARPU) भी इस तिमाही के दौरान 14.2% बढ़कर 175 रुपये हो गया है, जो पिछले वित्तीय वर्ष की समान तिमाही में 153 रुपये था। यह वृद्धि संकेत करती है कि कंपनी ने अपने ग्राहकों से अधिक लाभ प्राप्त करने के लिए अपने टैरिफ प्लान को बेहतर बनाया है।
शेयर प्रदर्शन
कंपनी के शेयरों की बात करें तो शुक्रवार को वोडाफोन आइडिया के शेयर 3.22% गिरकर 6.91 रुपये पर बंद हुए। पिछले महीने में, कंपनी के शेयरों में 3% और पिछले 6 महीनों में 17% की गिरावट रही है। हालांकि, पिछले एक साल में इस स्टॉक ने 55% की वृद्धि दर्ज की है, जिसे कंपनी के भविष्य के लिए सकारात्मक संकेत माना जा रहा है।
निष्कर्ष
वोडाफोन आइडिया का चौथी तिमाही का रिजल्ट कुछ उम्मीदें जगाता है, लेकिन कंपनी को अब भी बेहद कठिन वित्तीय चुनौतियों का सामना करना है। ऐसे में, नए फंड जुटाने की मंजूरी और बढ़ते एआरपीयू से उम्मीद है कि कंपनी अपनी वित्तीय स्थिति में सुधार कर सकेगी। आने वाले समय में यह देखना दिलचस्प होगा कि वोडाफोन आइडिया कैसे अपने व्यवसाय को स्थिर करने और लाभ उत्पन्न करने के लिए प्रयास करती है।
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