कानपुर-शुक्लागंज के गंगापुल पर रोजमर्रा जाम बड़ी समस्या:स्कूली बच्चों से लेकर नौकरीपेशा तक परेशान, नए पुल की मांग तेज
कानपुर और शुक्लागंज के बीच आवागमन का एकमात्र साधन नवीन गंगापुल इन दिनों लोगों के लिए बड़ी मुसीबत बन गया है। सुबह और शाम के पीक आवर्स में पुल पर लगने वाले भीषण जाम ने स्थानीय लोगों की परेशानियां बढ़ा दी हैं। इससे तंग आकर लोग सोशल मीडिया और अन्य माध्यमों से एक नए पुल की मांग कर रहे हैं। पुल पर भारी वाहनों का दबाव इतना ज्यादा है कि वाहनों की लंबी कतारें लग जाती हैं। इस समस्या से सबसे ज्यादा प्रभावित कानपुर में नौकरी करने वाले और पढ़ाई के लिए आने-जाने वाले लोग हैं। स्कूली छात्रों को तो कई बार देर से पहुंचने पर वापस लौटना पड़ता है, जिससे उनकी पढ़ाई प्रभावित हो रही है। देखें 4 तस्वीरें... स्थिति यह है कि पहले मौजूद पुराना पुल, जो हल्के वाहनों के लिए इस्तेमाल होता था, जर्जर होने और एक कोठी गिरने के कारण बंद कर दिया गया है। अब इसके दोबारा चालू होने की कोई उम्मीद नहीं है। स्थानीय लोगों का कहना है कि मौजूदा गंगापुल अपनी क्षमता से अधिक भार वहन कर रहा है। पिछले लोकसभा चुनाव के दौरान एक नए समानांतर पुल की मांग उठी थी, लेकिन चुनाव के बाद यह मुद्दा ठंडे बस्ते में चला गया। व्यापारी वर्ग का कहना है कि जाम की वजह से उनका कारोबार प्रभावित हो रहा है। साथ ही एंबुलेंस और फायर ब्रिगेड जैसी आपातकालीन सेवाएं भी बाधित हो रही हैं। अगर समय रहते इस समस्या का समाधान नहीं किया गया तो स्थिति और भी गंभीर हो सकती है। सोशल मीडिया पर क्षेत्रीय लोग नए पुल को लेकर आवाज उठा रहे हैं। उनका कहना है कि जनप्रतिनिधियों और सरकार को इस समस्या को प्राथमिकता देनी चाहिए। साथ ही पुराने पुल के पुनर्निर्माण या मरम्मत पर भी विचार किया जाना चाहिए।गंगापुल का यह जाम केवल शुक्लागंज और कानपुर के लोगों की नहीं, बल्कि पूरे क्षेत्र की बड़ी समस्या बन गया है। अब देखना यह है कि प्रशासन और सरकार इस मुद्दे पर कब और क्या कदम उठाती है।

कानपुर-शुक्लागंज के गंगापुल पर रोजमर्रा जाम बड़ी समस्या
कानपुर के शुक्लागंज क्षेत्र में गंगापुल पर दिन-प्रतिदिन जाम एक गंभीर समस्या बनती जा रही है। इस पुल के माध्यम से रोजाना स्कूली बच्चे और नौकरी से वापस लौटने वाले लोग गुजरते हैं, जो अक्सर जाम के कारण परेशान होते हैं। जाम की यह समस्या न केवल ट्रैफिक में रुकावट लाती है, बल्कि लोगों की दिनचर्या को भी प्रभावित करती है।
स्कूली बच्चों पर असर
गंगापुल पर रोज सुबह और शाम के समय जाम के कारण स्कूली बच्चों को अपने विद्यालय पहुंचने में काफी कठिनाई का सामना करना पड़ता है। सुबह स्कूल जाने के समय जाम में फंसे बच्चे, अपनी पढ़ाई में पीछे रह जाते हैं। इसके अलावा, माता-पिता भी अपनी नौकरी पर जाने में संशय में रहते हैं। इस समस्या के समाधान के लिए नया पुल बनाने की आवश्यकता महसूस की जा रही है।
नौकरीपेशा व्यक्तियों की समस्या
नौकरीपेशा लोग भी जाम के चलते समय पर कार्यालय नहीं पहुंच पा रहे हैं। रोजाना घंटों की देरी होना आम बात बन गई है, जिससे लोगों की मानसिक स्थिति पर प्रभाव पड़ रहा है। इससे आने-जाने में होने वाली कठिनाईयों के कारण वे अपने काम पर ध्यान केंद्रित नहीं कर पा रहे हैं।
नए पुल की मांग
स्थानीय निवासियों ने अब इस समस्या का समाधान खोजने के लिए आवाज उठाना शुरू कर दिया है। नया पुल बनाने की मांग तेज हो गई है। लोग चाहते हैं कि प्रशासन जल्दी से जल्दी इस समस्या का समाधान करें। कई संगठनों और नागरिकों ने ज्ञापन भी सौंपे हैं, जिसमें नए पुल के निर्माण की लगतार मांग की जा रही है।
आखिरकार, कानपुर में गंगापुल पर होने वाले नियमित जाम की समस्या का समाधान जरूरी है। अगर इस पुल का निर्माण जल्द किया जाता है, तो न सिर्फ स्कूली बच्चों का जीवन आसान होगा, बल्कि यह नौकरीपेशा लोगों के लिए भी राहत साबित होगा।
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