महाराष्ट्र में बाल झड़ने की अजीब बीमारी:3 गांवों के 60 लोग अचानक गंजे हुए, बच्चों से लेकर बुजुर्ग तक परेशान; सबसे ज्यादा महिलाएं प्रभावित
महाराष्ट्र के बुलढाना शहर में अजब बीमारी फैल रही है। यहां के 3 गांवों में पिछले 3 दिन में अचानक 60 लोग गंजेपन का शिकार हुए हैं। शहर के शेगाव तहसील के बोंडगांव, कालवड़ और हिंगना गांवों में बच्चों से लेकर बूढ़ों तक सभी लोगों के बाल झड़ने लगे हैं। इससे सभी गंजे होते जा रहे हैं, यहां तक कि महिलाएं भी इसका शिकार हो रही हैं। गांवों में फैल रही ये बीमारी कौन सी है, अभी इसका पता नहीं चल पाया है। यह बीमारी जेनेटिक है या नहीं, इसका पता लगाने के लिए स्वास्थ्य विभाग की टीम ने इन गांवों में जाकर सर्वे पूरा कर लिया है। साथ ही पानी का सैंपल भी ले लिया गया है। इस बीमारी के पहले दिन व्यक्ति के सिर में खुजली शुरू होती है। दूसरे दिन से बाल हाथ में आने शुरू हो जाते हैं, और तीसरे दिन मरीज गंजा हो जाता है। इस बीमारी से सबसे ज्यादा महिलाएं पीड़ित हैं। अधिकतर मरीजों ने प्राइवेट अस्पताल में अपना इलाज कराना शुरू कर दिया है। स्वास्थ्य अधिकारी बोले- शैंपू के इस्तेमाल पर शक जताया अचानक फैली इस बीमारी से स्वास्थ्य विभाग भी हैरत में है। तहसील की स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. दिपाली मालवदकर ने इसकी जानकारी जिला स्वास्थ्य अधिकारी और अन्य प्रशासन को दे दी है। वहीं गांववालों ने इस बीमारी का जल्द से जल्द इलाज ढूंढने की मांग की है। डॉ. दिपाली मालवदकर का कहना है कि शैंपू के इस्तेमाल से ऐसा हुआ होगा। हालांकि कई पीड़ितों का कहना है कि उन्होंने कभी केमिकल से भरा शैंपू तो क्या साबुन भी अपने बालों में नहीं लगाया है। फिर भी उनके बाल झड़ते जा रहे हैं। 'एक दिन में 50 से 100 बाल झड़ना आम बात' अमेरिकन एकेडमी ऑफ डर्मेटोलॉजी (AAD) के मुताबिक, एक दिन में किसी शख्स के 50 से 100 बाल झड़ना आम बात है। अगर किसी के सिर पर लगभग 100,000 (1 लाख) बाल हैं तो ऐसे समझिए कि यह बहुत गौर करने वाली बात नहीं है। यह एक साइकल की तरह है कि कुछ बाल जाते हैं तो उनकी जगह नए बाल आ जाते हैं। शैंपू या कंघी करने से नहीं झड़ते हैं बाल हमारे बाल शैंपू करने या कंघी करने से नहीं गिरते हैं। असल में ये स्कैल्प यानी अपनी जड़ से पहले ही अलग हो चुके होते हैं। शैंपू और कंघी इनका काम आसान कर देते हैं। सच यह है कि बालों को साफ रखने से इनमें मजबूती आती है। इससे इनकी जड़ों में किसी तरह के इन्फेक्शन का जोखिम कम हो जाता है। बाल झड़ने की असली वजह पोषक तत्वों की कमी है। अगर हमारी डाइट में हरी सब्जियां, फल, और जरूरी विटामिन (D, B-12 और E), मिनरल्स (आयरन और कैल्शियम) की कमी है तो इसका सीधा असर बालों पर भी पड़ता है। इसके अलावा अगर बालों को सही मात्रा में प्रोटीन नहीं मिल पा रहा है तो इसका मतलब कि बालों को पोषण नहीं मिल रहा है। इससे भी बाल गिर सकते हैं। बाल क्यों झड़ते हैं? हर व्यक्ति के बाल झड़ने के पीछे कई संभावित कारण हो सकते हैं। बाल गिरने के सबसे आम कारण ग्राफिक में देखिए। बाल झड़ने के लक्षण क्या हैं किसी शख्स के बाल किस उम्र में और किस कारण से झड़ रहे हैं, इससे यह तय होता है कि इसके लक्षण क्या होंगे। ये कई तरह के हो सकते हैं। अगर पुरुषों में गंजापन आ रहा है तो सबसे पहले मांग बनाने की जगह (हेयरलाइन) के बाल झड़ते हैं या सिर के आगे, पीछे, किनारों में एक खास जगह के बाल गिरने शुरू हो जाते हैं। जबकि महिलाओं के बाल पूरे सिर से ही धीरे-धीरे कम होने लगते हैं। उनके पूरे सिर के बाल पहले पतले होते जाते हैं, फिर झड़ते हैं। आमतौर पर किस तरह के लक्षण दिखते हैं, ग्राफिक में देखिए। किसी के बालों का झड़ना कई सालों में धीरे-धीरे हो सकता है या कई बार यह अचानक भी हो सकता है। यह अस्थायी या स्थायी हो सकता है। ------------------------------ बालों के झड़ने से झुड़ी ये खबरें भी पढ़ें- बाल अचानक क्यों झड़ते हैं:जानें हेयर फॉल की वजहें, बालों का झड़ना रोकने के लिए बदलें आदतें, अपनाएं घरेलू नुस्खे बालों का पतला होना या झड़ने की समस्या आजकल आम हो गई है। इसके कई कारण हो सकते हैं, इसलिए आपको सबसे पहले बालों के झड़ने का कारण पता लगाना चाहिए। सही ट्रीटमेंट और कुछ आदतें बदलकर बालों का झड़ना रोका जा सकता है। ब्यूटी एक्सपर्ट शहनाज हुसैन बता की रही हैं बाल झड़ने की वजहें और उन्हें रोकने के घरेलू उपाय। पूरी खबर पढ़ें-

महाराष्ट्र में बाल झड़ने की अजीब बीमारी
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समस्या का परिचय
महाराष्ट्र के कुछ गांवों में हाल ही में एक अजीब बीमारी का प्रकोप देखने को मिला है, जिससे बाल झड़ने की समस्या अचानक बढ़ गई है। यह बीमारी 3 गांवों में 60 लोगों को प्रभावित कर चुकी है, जिसमें बच्चों से लेकर बुजुर्ग तक शामिल हैं। इस घटना ने गांव में खौफ फैला दिया है, क्योंकि सबसे ज्यादा महिलाएं इस समस्या से प्रभावित हुई हैं।
कैसे शुरू हुई यह बीमारी?
स्थानीय निवासी बताते हैं कि पहले कुछ लोगों को हल्का गिरना महसूस हुआ, लेकिन धीरे-धीरे यह समस्या बढ़ गई। अब गांव के अन्य लोग भी इस बीमारी से ग्रस्त हो रहे हैं। बाल गिरने की यह समस्या अचानक हुई है, जिससे विशेषज्ञ भी चिंतित हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि पानी या किसी अदृश्य रोगाणु का प्रभाव हो सकता है।
प्रभावित क्षेत्रों का विश्लेषण
गांवों में आजकल तनाव का माहौल है। महिलाएं अपने बालों के गिरने को लेकर करने लगी हैं, जिससे उनका आत्मबल कमजोर हो रहा है। माता-पिता अपने बच्चों को लेकर चिंतित हैं और इसके समाधान की तलाश कर रहे हैं। कुछ महिलाओं ने तो बाल गिरने के कारण दैनिक जीवन पर भी प्रभाव देखा है।
स्थानीय स्वास्थ्य सेवाओं की प्रतिक्रिया
स्थानीय स्वास्थ्य विभाग ने इस समस्या पर ध्यान दिया है और उचित जांच शुरू की है। अभी तक, इसकी कोई स्पष्ट वजह नहीं मिल पाई है। स्वास्थ्य अधिकारियों ने गांव वालों को सलाह दी है कि वे अपने खाने-पीने की आदतों पर ध्यान दें और किसी भी अनियमितता को लेकर सतर्क रहें।
अगले कदम
इस समस्या के समाधान के लिए स्थानीय स्तर पर जागरूकता अभियान चलाए जा रहे हैं। स्वास्थ्य विभाग ने निवारक उपायों की योजना बनाई है ताकि इस बीमारी का असर सीमित किया जा सके। इसके साथ ही, इस मुद्दे पर अधिक गहन शोध भी आवश्यक है।
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समापन
महाराष्ट्र में बाल झड़ने की इस अजीब बीमारी ने सभी को चिंतित कर दिया है। इससे निपटने के लिए सामूहिक प्रयासों की आवश्यकता है ताकि इस संकट का जल्द ही समाधान निकाला जा सके। Keywords: महाराष्ट्र बाल झड़ने की बीमारी, गांवों में बाल गिरना, गंजे होने के मामले, महिलाओं पर प्रभाव, स्वास्थ्य विभाग की कार्रवाई, बाल गिरने का कारण, बच्चों का बाल झड़ना, महाराष्ट्र स्वास्थ्य समस्या, गांवों में बीमारी का प्रकोप, जागरूकता अभियान
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