शिमला में अंतरराज्यीय नशा तस्करी गिरोह पकड़ा:जम्मू-कश्मीर से जुड़ा कनेक्शन, दो तस्कर गिरफ्तार; मुख्य आरोपी फरार
शिमला में नशे के खिलाफ पुलिस का विशेष अभियान मिशन क्लीन भरोसा जारी है। पुलिस ने अंतरराज्यीय नशा तस्करी के नेटवर्क का भंडाफोड़ किया है। पुलिस ने बीते दिनों मोती शर्मा नामक व्यक्ति को न्यू शिमला से गिरफ्तार किया था। पुलिस ने उसके पास से 23.720 ग्राम हेरोइन बरामद की थी। जिसके बाद पुलिस ने व्यक्ति से पूछताछ की और दूसरे आरोपी को भी पकड़ लिया है। पुलिस के अनुसार जांच में पता चला कि मोती शर्मा जम्मू-कश्मीर के एक शर्मा नाम के व्यक्ति के साथ मिलकर नशे का कारोबार कर रहा था। वह शिमला और हमीरपुर में नशे की सप्लाई करता था। बहन के खाते के जरिए पैसे किए ट्रांसफर पुलिस के अनुसार शातिर नशे की बिक्री से मिले पैसे अपनी बहन के खाते के जरिए सरिता नाम की एक महिला के खाते में ट्रांसफर करता था। यह महिला जम्मू कश्मीर के अखनूर की रहने वाली थी। उसका खाता जम्मू कश्मीर में है। जिसके बाद शिमला पुलिस की एक टीम मामले में जांच के लिए जम्मू-कश्मीर के अखनूर पहुंची और वहां सरिता से पूछताछ की। इस दौरान पुलिस को जांच में पता चला कि सरिता के बैंक खाते का इस्तेमाल उसका बेटा राहुल करता था। जिसके बाद पुलिस ने राहुल से पूछताछ की और राहुल ने सब सच उगल दिया। कि वह अपने मामा अशोक खजुरिया उर्फ शर्मा उर्फ बिल्ला के साथ इस नशे की अवैध धंधे में शामिल है। मुख्य आरोपी की तलाश में पुलिस पुलिस ने राहुल शर्मा को 19 अप्रैल को शाम करीब 5:35 बजे बालूगंज से गिरफ्तार किया। आरोपी अशोक खजुरिया की तलाश जम्मू-कश्मीर में की गई, लेकिन वह फरार हो गया। पुलिस ने उक्त महिला सरिता का बयान भी दर्ज करा लिया गया है। पुलिस के अनुसार मामले जांच जारी है।

शिमला में अंतरराज्यीय नशा तस्करी गिरोह पकड़ा: जम्मू-कश्मीर से जुड़ा कनेक्शन, दो तस्कर गिरफ्तार; मुख्य आरोपी फरार
नशे की समस्या ने आजकल पूरी दुनिया में एक गंभीर स्थिति पैदा कर दी है। हाल ही में, शिमला में पुलिस ने एक अंतरराज्यीय नशा तस्करी गिरोह को पकड़ा है। यह गिरोह जम्मू-कश्मीर से जुड़ा हुआ है, जो इस क्षेत्र में नशे की तस्करी के लिए जाना जाता है। इस सूचना के अनुसार, पुलिस ने दो मुख्य तस्करों को गिरफ्तार किया है, जबकि गिरोह का मुख्य आरोपी भागने में सफल रहा है।
जम्मू-कश्मीर से नशे की तस्करी का नेटवर्क
जम्मू-कश्मीर से शिमला तक के इस नशे के नेटवर्क के बारे में पुलिस को लंबे समय से जानकारी मिल रही थी। गिरफ्तार किए गए तस्करों की पहचान अभी नहीं की गई है, लेकिन पुलिस का कहना है कि यह जांच अब भी जारी है। उद्देश्य यह पता करना है कि इस गिरोह के पीछे और भी कौन लोग शामिल हैं।
पुलिस कार्रवाई और नशा तस्करी के खिलाफ सख्त कदम
शिमला पुलिस ने इस मामले में त्वरित कार्रवाई की है। नशा तस्करी के खिलाफ पुलिस की कड़ी मेहनत से इस गिरोह का पर्दाफाश हुआ है। पुलिस ने बताया कि जांच के दौरान कई महत्वपूर्ण जानकारी प्राप्त हुई है। इस दौरान विभिन्न जगहों पर तलाशी ली गई, जिसमें तस्करी के सामान की बरामदगी हुई है।
मुख्य आरोपी का फरार होना: एक चिंता का विषय
मुख्य आरोपी का फरार होना एक गंभीर चिंता का विषय है। इस मामले की गहराई से जांच करने की आवश्यकता है, ताकि इसके पीछे के बड़े नेटवर्क का पता लगाया जा सके। पुलिस ने कहा कि मुख्य आरोपी को पकड़ने के लिए सभी संभावित कदम उठाए जाएंगे।
नशा तस्करी के ऐसे मामलों से निपटने के लिए समाज में जागरूकता फैलाना भी आवश्यक है। इसके लिए पुलिस के साथ-साथ विभिन्न संगठनों की भी महत्वपूर्ण भूमिका हो सकती है।
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सारांश
शिमला में अंतरराज्यीय नशा तस्करी गिरोह के पकड़े जाने के मामले ने यह साबित कर दिया है कि नशे की समस्या अब सिर्फ एक सामाजिक समस्या नहीं, बल्कि एक गंभीर अपराध बन चुकी है। सरकार और पुलिस को मिलकर इस पर कड़ाई से निपटना होगा। Keywords: शिमला नशा तस्करी, जम्मू-कश्मीर ड्रग स्मगलिंग, शिमला पुलिस कार्रवाई, नशा तस्करों की गिरफ्तारी, नशा तस्करी गिरोह, मुख्य आरोपी फरार, अंतरराज्यीय नशा तस्करी, ड्रग्स की समस्या, पुलिस रिपोर्ट शिमला, नशा तस्करी समाचार
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