20 करोड़ से बने अस्पताल में बुनियादी सुविधाएं नहीं:अयोध्या में कुमारगंज के 100 बेड के हॉस्पिटल में 18 नर्स सहित 31 पद खाली

अयोध्या के कुमारगंज और आसपास के क्षेत्रों में स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत करने के लिए 20 करोड़ रुपये की लागत से बनाया गया 100 बेड का संयुक्त चिकित्सालय आज भी अपने मूल उद्देश्य से दूर है। तीन साल बीत जाने के बाद भी यहां चिकित्सकों और स्वास्थ्य कर्मियों के अधिकांश पद खाली पड़े हैं। 24 घंटे चिकित्सा सुविधा प्रदान करने के लिए बने इस अस्पताल में इमरजेंसी और ओपीडी सेवाएं भी पूरी तरह से उपलब्ध नहीं हैं। यहां तक कि सामान्य प्रसव जैसी बुनियादी सुविधाएं भी मरीजों को नहीं मिल पा रही हैं। अस्पताल में अल्ट्रासाउंड समेत आधुनिक चिकित्सा उपकरणों की भी कमी हैं। रिक्त पदों की स्थिति चिंताजनक हैं। फिजीशियन, चेस्ट फिजीशियन, नेत्र सर्जन, वरिष्ठ स्त्री रोग विशेषज्ञ और फिजियोथेरेपिस्ट के एक-एक पद खाली हैं। इसके अलावा रेडियोलॉजिस्ट, एनेस्थेटिस्ट, सर्जन और पैथोलॉजिस्ट के दो-दो पद, ओटी टेक्नीशियन के दो पद तथा स्टाफ नर्स के 18 पद रिक्त पड़े हैं। अस्पताल के सीएमएस डॉ. अनिल कुमार के अनुसार रिक्त पदों को भरने के लिए कई बार पत्राचार किया गया है, लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है। विधानसभा उपचुनाव में यह मुद्दा प्रमुखता से उठ रहा है, क्योंकि स्थानीय लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सेवाओं के लिए दूसरे शहरों का रुख करना पड़ रहा है।

Jan 14, 2025 - 13:00
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20 करोड़ से बने अस्पताल में बुनियादी सुविधाएं नहीं:अयोध्या में कुमारगंज के 100 बेड के हॉस्पिटल में 18 नर्स सहित 31 पद खाली
अयोध्या के कुमारगंज और आसपास के क्षेत्रों में स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत करने के लिए 20 करोड़ रुपय

20 करोड़ से बने अस्पताल में बुनियादी सुविधाएं नहीं

अयोध्या में कुमारगंज के 100 बेड के हॉस्पिटल की स्थिति

हाल ही में खुला अयोध्या का 100 बेड का अस्पताल, जिसमें 20 करोड़ की लागत से निर्मित किया गया है, बुनियादी सुविधाओं की कमी के चलते चर्चा का विषय बन गया है। इस अस्पताल में वर्तमान में 18 नर्स सहित कुल 31 पद खाली हैं। इस स्थिति ने स्थानीय नागरिकों और स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता को लेकर सवाल उठाए हैं।

स्वास्थ्य सेवाओं की घटती गुणवत्ता

कुमारगंज के इस हॉस्पिटल में चिकित्सकीय सहीत अन्य आवश्यक सेवाओं की पूर्ति नहीं हो पा रही है। जबकि यह अस्पताल क्षेत्र के नागरिकों के लिए स्वास्थ्य सेवा का एक महत्वपूर्ण स्रोत हो सकता था, लेकिन मौजूदा स्थिति ने स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता को बुरी तरह प्रभावित किया है।

स्थानीय नागरिकों की चिंता

स्थानीय निवासी अस्पताल के बुनियादी ढांचे और मेडिकल स्टाफ की कमी से चिंतित हैं। उनका मानना है कि यदि जल्द ही आवश्यक प्रबंधन नहीं किया गया, तो यह अस्पताल अपनी भूमिका को ठीक से निभाने में असमर्थ रहेगा। ऐसी स्थिति में, मरीजों को गुणवत्ता स्वास्थ्य सेवाओं का लाभ उठाने में कठिनाई आएगी।

समाधान और भविष्य की योजनाएं

स्थानीय प्रशासन को चाहिए कि वह जल्द से जल्द इन पदों को भरने और बुनियादी सुविधाओं को मजबूत करने के लिए ठोस कदम उठाए। इसके लिए प्रबंधन को मरीजों की जरूरतों के संदर्भ में उचित विचार-विमर्श करना होगा। अस्पताल में पर्याप्त स्टाफ और संसाधनों की नियुक्ति से ही मरीजों को बेहतर उपचार संभव हो पाएगा।

अंततः, अयोध्या स्थित कुमारगंज का 100 बेड का अस्पताल तभी सफल हो पाएगा जब इसे काम करने के लिए संरचना और मानव संसाधनों की जरुरत है।

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