घरौनी होने के बावजूद नहीं बना पा रहा मकान:अयोध्या में दबंगों की धमकी से परेशान, प्रशासन से शिकायत के बाद भी नहीं मिला न्याय

अयोध्या के खण्डासा थाना क्षेत्र के जय राजपुर गांव में एक व्यक्ति को अपनी ही जमीन पर मकान बनाने से रोका जा रहा है। पीड़ित आशाराम ने बीते 28 फरवरी को उप जिलाधिकारी मिल्कीपुर को शिकायती पत्र दिया। लेकिन आज तक कोई कार्यवाही नहीं हो सकी है। जिसके चलते आशाराम अपने आवाज का निर्माण नहीं कर पा रहे हैं। आशाराम ने दैनिक भास्कर को बताया कि वह पुरानी आबादी में अपने पुराने घर को गिराकर उसी जगह पर नया मकान बनाना चाहते हैं। इस जमीन पर उनकी घरौनी भी दर्ज है। लेकिन विश्वनाथ पाण्डेय, उनके पुत्र धीरेंद्र कुमार और उनके परिवार की महिलाएं मकान निर्माण में बाधा डाल रहे हैं। जब आशाराम ने इसका विरोध किया तो विपक्षियों ने उनके साथ मारपीट की। इस हमले में आशाराम के सिर में गंभीर चोटे भी आई। मजदूरी कर रहीं विमला रैदास और रामावती को भी पीटा गया था। पीड़ित ने स्थानीय पुलिस चौकी, थाना खण्डासा और एसडीएम मिल्कीपुर को शिकायत की। लेकिन आरोपियों पर कोई कार्रवाई नहीं हुई। पीड़ित का कहना है कि उल्टे पुलिस ने हमारे ऊपर ही केस दर्ज कर दिया है। विश्वनाथ का कहना है कि यह उनके घर के सामने है, इसलिए वहां मकान नहीं बनने देंगे। आशाराम का 40 वर्ष पुराना मकान है, जिसकी दीवारों में नमी आ गई है। उन्होंने मुख्यमंत्री पोर्टल पर भी शिकायत दर्ज कराई है। लेकिन अभी तक कोई जांच नहीं हुई। एसडीएम से निवेदन करने के बावजूद लेखपाल भी मौके पर नहीं पहुंचा। आरोपी अब भी मारपीट की धमकी दे रहे हैं। पीड़ित का कहना है कि प्रशासन हमारी कोई मदद नहीं कर रहा है।

Mar 21, 2025 - 08:59
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घरौनी होने के बावजूद नहीं बना पा रहा मकान:अयोध्या में दबंगों की धमकी से परेशान, प्रशासन से शिकायत के बाद भी नहीं मिला न्याय
अयोध्या के खण्डासा थाना क्षेत्र के जय राजपुर गांव में एक व्यक्ति को अपनी ही जमीन पर मकान बनाने से

घरौनी होने के बावजूद नहीं बना पा रहा मकान: अयोध्या में दबंगों की धमकी से परेशान, प्रशासन से शिकायत के बाद भी नहीं मिला न्याय

अयोध्या में एक व्यक्ति, जो कि घरौनी के तहत अपने मकान का निर्माण कर रहा था, को दबंगों की धमकी का सामना करना पड़ा है। यह मामला उस समय सामने आया जब स्थानीय प्रशासन से शिकायत करने के बावजूद उचित कार्रवाई नहीं हुई। यह स्थिति स्थानीय निवासियों के लिए चिंता का विषय बन गई है, जिन्होंने इस मुद्दे का समाधान करने की मांग की है।

मामले का संक्षिप्त विवरण

जिला प्रशासन में शिकायत दर्ज होने के बाद भी, ठेकेदारों और स्थानीय दबंगों ने इस व्यक्ति को बार-बार धमकियाँ दी हैं, जिससे वह अपने घर का निर्माण नहीं कर पा रहा है। घरौनी ली जाने के बावजूद, उसे अपने अधिकारों के लिए लड़ना पड़ रहा है। यह स्थिति स्पष्ट रूप से बताती है कि कैसे सत्ताधारी और दबंग तत्वों का भय आम आदमी के लिए एक बड़ी बाधा बन सकता है।

प्रशासनिक अनियमितताएँ

आवेदन के बाद भी, प्रशासन ने इस मामले पर गंभीरता से ध्यान नहीं दिया है। स्थानीय लोगों का मानना है कि यदि प्रशासन सख्त कदम नहीं उठाता, तो यह स्थिति और भी बिगड़ सकती है। कई निवासियों ने इस समस्या को लेकर चिंता जताई है और न्याय की अपील की है।

समुदाय की प्रतिक्रिया

स्थानीय समुदाय में इस घटना को लेकर काफी आक्रोश है। लोग एकजुट होकर दबंगों के खिलाफ आवाज उठाने की आवश्यकता महसूस कर रहे हैं। न्याय के लिए उनकी सामूहिक आवाज़ दबंग तत्त्वों के खिलाफ एक मजबूत संदेश है। समाज में जागरूकता बढ़ाना आवश्यक है, ताकि हर व्यक्ति अपने अधिकारों के लिए लड़े।

अंतिम विचार

यह मामला न केवल स्थानीय प्रशासन की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाता है, बल्कि यह भी दिखाता है कि कैसे दबंगों का आतंक आम नागरिकों के जीवन को प्रभावित कर सकता है। न्याय पाने के लिए संघर्ष करना हर व्यक्ति का अधिकार है, और ऐसे मामलों में ठोस कार्रवाई आवश्यक है।

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